पेटीएम मिनी एप स्टोर की अगुवाई में गूगल को चुनोती

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आज पेटीएम ने एक बड़ा धमाका करते हुए सीधे गूगल को चुनोती डे डाली और अपना स्वय का एप्प स्टोर लांच कर दिया और इसे आत्मर्निर्भर भारत की तरफ से दिग्गज कंपनियों को जवाब के तौर पर देखा जा रहा है. यहाँ सीधे 30 % की बचत के साथ पेटीएम अन्य स्टार्टअप कंपनियों को लेकर आई है.

इसे India’s largest mobile marketplace और स्वदेशी एप्प स्टोर के नाम से प्रचारित भी किया जा रहा है. वैसे तो पेटीएम एक भारतीय कंपनी से जुडी सर्विस है जिसे One97 Communications Limited कम्पनी चलाती है. मगर इसमें अली बाबा ग्रुप जो कि एक चाइना की कंपनी है, ने हेवी इन्वेस्टमेंट करके बड़ी भागेदारी ले रखी है.

पेटीएम मिनी एप स्टोर क्या है ?

हाल ही में पेटीएमप को गूगल के प्ले स्टोर से हटा दिया था मगर फिर वापस इसने लिस्ट कर दिया गया. अब कंपनी सीधे तौर पर गूगल का वर्चस्व ख़तम करने के लिए अन्य स्टार्टअप कंपनी जैसे ओला नेटमेड्स सिग्गी डोमिनोज पिज़्ज़ा को साथ लेकर अपना प्लेटफार्म लांच कर चुकी है जिसे पेटीएम मिनी एप स्टोर कहा जा रहा है.

पेटीएम ने अपने इस मिनी एप स्टोर पर 300 एप को लिस्ट किया है. और उनको लिस्ट करने के लिए बीना किसी शुल्क के उन्हें अपने एक नवोदित प्लेटफार्म पर जगह दी है. जिसको लिस्ट करने के लिए माइक्रोसॉफ्ट और गूगल जैसे कम्पनियाँ 30 % तक की टेक्स वसूलती थी.

कौन कौन सी कम्पनी कि एप paytm mini app store पर उपलब्ध है ?

यहाँ पेटीएम द्वारा जिन 300 एप की बात की गई है उनमे खेल के उत्पादों को बेचने वाली डेकाथलन,ऑनलाइन टेक्सी सर्विस ओला और रैपिडो, दवाई बेचने वाली नेटमेड्स और 1एमजी, और फ़ास्ट फ़ूड कम्पनी डोमिनोज पिज्जा और फ्रेश मेन्यू और भूमि और प्लाट सम्बन्धी कम्पनी नोब्रोकर प्रमुख हैं.

क्यों एक जुट हो रहे है भारतीय स्टार्टअप ?

गूगल द्वारा पेटीएम और ड्रीम 11 एप्प को अपने प्लेस्टोर से हटाने पर इंटरनेट एंड मोबाइल एसोसिएशन ऑफ इंडिया (आईएएमआईए) द्वारा एक नयी रणनीति पर विचार किया जा रहा था और इसके सदस्यों के बीच विचार विमर्श भी चला. 29 सितम्बर को इसके लिए एक प्रेस नोट भी जारी किया था.

इसी बीच पेटीएम ने अपना खुद का एप्प स्टोर जरी कर दिया. बीते कुछ समय से बड़ी कंपनियों के एकाधिकार को ख़तम करने के लिए 50 से ज्यादा स्टार्टअप कंपनियों के फाउंडर्स ने भारतीय ऐप स्टोर की संभावनाओं के बारे में मंत्रणा की और इसका फल देखने को मिला है. इसकी शुरुआत फिलहाल paytm ने अपने स्तर पर कर दी है.

पुरे मामले पर आईएएमआईए का क्या कहना है ?

विश्वास पटेल सदस्य, आईएएमआईए के अनुसार गूगल अवश्य ही भारत और दुनिया के डिजिटल इकोसिस्टम में अहम् भूमिका अदा करता है इसका मतलब यह नहीं कि वो अपनी मनमानी करे और भारत सरकार के कानून पर अपने नियम लागु करता है वो भी गलत है.

गूगल सभी कंपनियों को अपनी ही तरह समान अवसर देना चाहिए. वही गूगल को स्वय भी RBI से मंजूरी लेने के बाद ही कोई ठोस कदम उठाने चाहिए जो वो कम्पनी नहीं कर रही है. गूगल अपने आपको पेमेंट सिस्टम ऑपरेटर नहीं मानती और इसके चलते वो RBI के नियमो को गौण साबित करती है.

गूगल की नयी बिलिंग प्रणाली क्या है ?

हाल ही में गूगल कंपनी ने अपनी नई बिलिंग प्रणाली जारी की थी जिसके तहत गूगल प्रत्येक पेमेंट पर 30 फीसदी कमीशन प्राप्त करेगा और ऐसे समय में जब पूरी दुनिया कोरोना के प्रभाव से आहत है वही इतना टेक्स स्टार्ट कम्पनिया नहीं दे सकती.

इसके विरोध में जो आवाजे उठी थी उसके मद्दे नजर गूगल ने अपनी यह नयी बिलिंग प्रणाली पर एक blog के जरिये अपडेट जारी करते हुए हुए इसे 31 मार्च 2022 तक के लिए टाल दिया है.

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